सोल। दक्षिण कोरिया की एक अदालत ने महाभियोग का सामना कर रहे राष्ट्रपति यून सुक योल की गिरफ्तारी रद्द करने की याचिका स्वीकार कर ली है। इसके साथ ही अदालत ने उन्हें शुक्रवार को हिरासत से रिहा करने का आदेश दिया। यून को राजधानी सोल के दक्षिण में उइवांग स्थित एक हिरासत केंद्र में रखा गया था। उन्हें 15 जनवरी को मार्शल लॉ की घोषणा के जरिए विद्रोह भड़काने के आरोप में गिरफ्तार किया गया था।
राष्ट्रपति यून के खिलाफ महाभियोग मुकदमे की सुनवाई पहले ही पूरी हो चुकी है और जल्द ही संवैधानिक न्यायालय अपना फैसला सुना सकता है। इस फैसले के मद्देनजर संवैधानिक न्यायालय के आसपास सुरक्षा के कड़े बंदोबस्त किए गए हैं।
पिछले महीने के अंत में अदालत ने 3 दिसंबर को मार्शल लॉ घोषित करने के मामले में यून के खिलाफ महाभियोग की सुनवाई पूरी कर ली थी। अब जल्द ही यह फैसला आएगा कि उन्हें राष्ट्रपति पद से हटाया जाएगा या नहीं। हालांकि, फैसले की तारीख अभी घोषित नहीं की गई है।
यदि महाभियोग को मंजूरी मिलती है और यून को पद से हटा दिया जाता है, तो दक्षिण कोरिया में 60 दिनों के भीतर नए राष्ट्रपति के लिए त्वरित चुनाव कराए जाएंगे। लेकिन अगर अदालत महाभियोग को खारिज कर देती है, तो यून तुरंत अपने कर्तव्यों को फिर से शुरू कर देंगे।
राष्ट्रपति यून ने 3 दिसंबर की रात को दक्षिण कोरिया में आपातकालीन मार्शल लॉ घोषित कर दिया था। हालांकि, संसद द्वारा इसे असंवैधानिक ठहराए जाने के बाद यह आदेश कुछ घंटों के भीतर निरस्त कर दिया गया था। हालांकि यह मार्शल लॉ केवल कुछ घंटे ही लागू रहा, लेकिन इसने देश की राजनीति में भूचाल ला दिया था।
दक्षिण कोरिया की नेशनल असेंबली पहले ही राष्ट्रपति यून सुक योल और उनकी जगह कार्यवाहक राष्ट्रपति बने हान डक-सू के खिलाफ प्रस्ताव पारित कर चुकी है। मौजूदा समय में उप प्रधानमंत्री और वित्त मंत्री चोई सांग-मोक कार्यवाहक राष्ट्रपति और कार्यवाहक प्रधानमंत्री, दोनों की जिम्मेदारियां संभाल रहे हैं।